एक सफल खिलाड़ी बनना आसान नहीं होता:- दिव्या काकरन
बर्मिंघम में आयोजित कॉमनवेल्थ गेम्स 2022 में भारतीय पहलवानों द्वारा काफ़ी अच्छा प्रदर्शन देखने को मिला है। भारतीय पहलवानों ने कुल 12 मैडल देश की झोली में डाले, जिसमें 6 गोल्ड है। जहाँ भारतीय लोग व नेता पहलवानो को शुभकामनायें दिए जा रहे हैं वहीं दिव्या काकरन ने ट्विट कर दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविन्द केजरीवाल से कहा कि “मेडल की बधाई देने पर दिल्ली के माननीय मुख्यमंत्री जी को तहे दिल से धन्यवाद मेरा आपसे एक निवेदन है की मै पिछले 20 साल से दिल्ली मे रह रही हू और यही अपने खेल, कुश्ती का अभ्यास कर रही हू परंतु अब तक मुझे राज्य सरकार से किसी तरह की कोई इनाम राशि नही दी गई और न हीी कोई मदद की गई”
ऐसा ही एक ट्वीट 2018 में उन्होंने किया था जब एशियन गेम्स में उन्होंने कांस्य पदक हासिल किया था। तब भी उन्होंने कहा था कि ‘मैंने 19 साल की उम्र में देश को गोल्ड मेडल दिलाया और लगातार दिल्ली को 12 मेडल दिए है। आपने कहा था कि मुझे भविष्य में मदद मिलेगी लेकिन ऐसा नहीं हुआ।’
यह ट्वीट ज़ाहिर करता है कि दिल्ली की ही तरह सम्पूर्ण भारत में खिलाड़ियों को काफी संघर्ष करना पड़ रहा है जिसमें सरकार उनकी मदद करनेे को तैयार हीं नहीं है। न खिलाड़ियों के पास अच्छे स्पोर्ट किट है, न ही उचित प्रशिक्षण, और न ही कोई सहयोग। अब इन सभी के कारण एक बेहतरीन खिलाड़ी खेल छोड़ देने पर विवश है।