डॉ. विकास दिव्यकीर्ति का साक्षात्कार, पहली बार अपनी जिंदगी के बारे में बताया।
यूट्यूब पर डॉ. विकास दिव्यकीर्ति का साक्षात्कार बहुत वायरल हो रहा है। डॉ. विकास दिव्यकीर्ति ने 2 घंटे 45 मिनट के इस साक्षात्कार में अपने जीवन के हर पहलु पर बात की है। साक्षात्कार इतना रोचक है की इसे पढ़ते पढ़ते कब घंटो बीत जाए पता ही नहीं चलता इससे अभी भी बहुत सी बातें और किस्से हमें उनके बारे में नहीं मालूम हो पाए।
डॉ. विकास दिव्यकीर्ति सोशल मीडिया पर अपने विचार और तार्किक बातों से चर्चित हैं। दृष्टि आईएएस’ कोचिंग संस्थान के वह संस्थाक है जो भारत में IAS बनाने की फैक्ट्री हो मानो। इस साक्षात्कार में उन्होंने कॉलेज के 1st ईयर में कैसे अपने परिवार की आर्थिक मदद करने के लिए सेल्समेन का काम किया फिर प्रिंटिंग का काम किया सभी विस्तार से बताया गया है। उन्होंने UPSC की परीक्षा दी और पहले प्रयास में ही रैंक प्राप्त कर ली, मगर नौकरी शुरु की तो उसके 6 महीने बाद ही रिजाइन कर डाला। उन्होंने अपने प्रेम विवाह का भी ज़िक्र किया है, उन्होंने कहा की- UPSC परीक्षा के परिणाम आने से पहले ही उन्होने शादी कर ली। JRF से प्राप्त राशि के सहारे घर खर्च उठाया पर जब क़र्ज़ बढ़ गया तो कोचिंग के माध्यम से उसको उतरा और आज देश को ऐसा अध्यापक मिला है। उन्होंने अपने फ़िल्म मेकर और पॉलिटिशियन बनने की रूचि के बारे में भी बताया है। उन्होंने समाज शास्त्र और दर्शन शास्त्र विषय में अद्भुद्ध बातें बताई। उन्होंने दर्शन को समझने के लिए एक किताब का भी सुझाव दिया है, जिसका नाम Sophie’s world है। यह साक्षात्कार पहला ऐसा साक्षात्कार है जिसमे उन्होने अपने निजी जीवन के हार-जीत, सुख – दुःख का वर्णन किया है, इसे पढ़ने के बाद एक जूनून पैदा होता है। ख़ासकर UPSC के विद्यार्थियों के लिए। उन्होंने जावेद अख़्तर साहब के शेर को अपने जीवन का मूल मन्त्र बताया:-
“क्यों डरें ज़िन्दगी में क्या होगा
कुछ ना होगा तो तज़रूबा होगा!!”