श्री की एक बैठक में रविवार को जन्मभूमि ट्रस्ट का आयोजन किया गया। चंपत राय, श्री राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट के महासचिव ने बैठक के बाद संवाददाताओं से कहा कि भव्य राम मंदिर के निर्माण में करीब 1800 करोड़ रुपये की लागत आने का अनुमान है। राय ने कहा कि यह एक संशोधित अनुमान था। राय ने निर्माण लागत के बारे में आगे कहा, “कई संशोधनों के बाद हम इस अनुमान पर पहुंच गए हैं और यह बढ़ भी सकता है।” बैठक की अध्यक्षता राम मंदिर निर्माण समिति के अध्यक्ष नृपेंद्र मिश्रा ने की।
श्री राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट ने बैठक में अपने नियम-कायदों को अंतिम रूप दिया। चंपत राय ने कहा, “श्री राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट के नियमों और विनियमों को अंतिम रूप दे दिया गया है। हम पिछले कई महीनों से इस पर काम कर रहे हैं।” 15 में से 14 सदस्यों ने उक्त बैठक में भाग लिया। राम मंदिर में रामायण युग के कई अन्य देवताओं की मूर्तियों को भी स्थापित किए जाने की उम्मीद है।
राय ने यह भी कहा कि मंदिर का निर्माण दिसंबर 2023 तक पूरा होने की उम्मीद है। जनवरी 2024 में मकर संक्रांति उत्सव पर भगवान राम के गर्भगृह में विराजमान होने की उम्मीद है। गौरतलब है कि बैठक से पहले ट्रस्ट के पदाधिकारियों ने राम जन्मभूमि परिसर का स्थल निरीक्षण कर अब तक की निर्माण प्रगति का जायजा भी लिया। आपको यह भी बता दें कि भवन निर्माण समिति की बैठक हर माह आयोजित होती है।
उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने इस साल जून में राम मंदिर के ‘गर्भ गृह’ या मंदिर के गर्भगृह के निर्माण की आधारशिला रखी थी।